नई दिल्ली। केंद्र सरकार के द्वारा आम आदमी को राहत देने की तैयारी की जा रही है। शनिवार को वित्त मंत्री अरुण जेटली की अध्यक्षता में हो रही जीएसटी काउंसिल की बैठक में इस बात की उम्मीद लगाई जा रही है कि लग्जरी सामानों और सिगरेट-तंबाकू को छोड़कर रोजमर्रा की जरूरत वाले सामानों को 18 फीसदी या उससे भी कम जीएसटी के दायरे में लाया जा सकता है। रोजमर्रा की इन वस्तुओं में कंप्यूटर मॉनिटर, पावर बैंक, यूपीएस, टायर, एसी, डिजिटल कैमरा, वॉशिंग मशीन और पानी गर्म करने वाला हीटर शामिल है।
गौरतलब है कि इन वस्तुओं पर मौजूदा समय 28 फीसद जीएसटी लगता है जिन पर शनिवार को टैक्स कम होने की उम्मीद है। सूत्रों के अनुसार, सीमेंट को 18 प्रतिशत के दायरे में लाया जा सकता है। दरअसल सीमेंट पर 28 प्रतिशत जीएसटी होने से कालाबाजारी में बढ़ोतरी हो रही है। ऐसे में दरों के कम करने से फर्क पड़ेगा और बिक्री का आंकड़ा बढ़ने से राजस्व समान रहने की उम्मीद सरकार को है।
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यहां बता दें कि वित्त मंत्री अरुण जेटली के नेतृत्व में चल रही इस बैठक में सीमेंट के अलावा विभिन्न इलेक्ट्रॉनिक सामान पर लगने वाली दर को कम किया जा सकता है। गौर करने वाली बात है कि परिषद् में सहमति होने पर ही दरों को कम करने पर निर्णय लिया जा सकता है। इस बात की भी उम्मीद जताई जा रही है कि बैठक में निर्माणाधीन आवास पर जीएसटी 12 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी किए जाने के प्रस्ताव पर भी चर्चा हो सकती है।