नई दिल्ली । यूपीए की चेयरपर्सन सोनिया गांधी ने कर्नाटक विधानसभा चुनावों के परिणाम आने के दौर के बीच ही अपनी अंतिम रणनीति पर काम शुरू कर दिया है। सोनिया गांधी ने कर्नाटक में मौजूद अपनी पार्टी के नेता गुलाम नबी आजाद को निर्देश दिए हैं कि वह विधानसभा चुनावों में पार्टी की स्थिति और जनता दल (एस) को मिली सीटों पर मंथन करते हुए गठबंधन की सरकार के लिए देवगौड़ा से मिलकर उनसे नई सरकार बनाने को लेकर बातचीत करें। इस दौरान कांग्रेस की ओर से चेयरपर्सन ने कहा कि अगर जनता दल (एस) समर्थन के बदले मुख्यमंत्री पद भी मांगे तो उनसे बात करें। हालांकि इस सब से इतर भाजपा भी पूर्ण बहुमत के काफी करीब पहुंच गई है। भाजपा मौजूदा समय में 106 सीटों के करीब पहुंच गई है। अगर वह इतनी सीटें जीत जाती है तो तो उन्हें बहुमत के लिए बस कुछ ही सीटों की ओर दरकार होगी, ऐसे में अब कर्नाटक चुनाव में अहम कड़ी देवगौड़ा की पार्टी बनने जा रही है।
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बता दें कि पिछले दिनों मिजोरम में भाजपा के साथ कांटे की टक्कर के बाद भाजपा द्वारा वहां सरकार बना लेने के बाद कांग्रेस ने भाजपा पर कई तरह के आरोप लगाए थे लेकिन हाथ कुछ नहीं लगा। पिछले कड़वे अनुभवों से सबक लेते हुए यूपीए की चेयरपर्सन सोनिया गांधी ने चुनाव नतीजों के आने के दौर के बीच ही अपनी पार्टी के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद को निर्देश दिए हैं कि वह राज्य में सरकार बनाने के लिए अभी से जुट जाएं। उन्होंने आजाद को निर्देश देते हुए कहा कि वह अभी से देवगौड़ा से बात करनी शुरू कर दें कि अगर उन्हें गठबंधन की सरकार में अगर सीएम पद चाहिए तो कांग्रेस वह देने के लिए तैयार है।
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मौजूदा घटनाक्रम में जहां कांग्रेस के पास 73 सीटें आती नजर आ रही हैं वहीं जेडीएस के पास 40 सीटें आती दिख रही हैं। ऐसे में अगर दोनों गठबंधन की सरकार बनाते हैं तो दोनों के पास बहुमत का जादुई आंकड़ा 112 नजर आता है। दोनों के साथ आने पर अभी के आंकड़ों के मुताबिक 113 सीटें आती नजर आ रही हैं।
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बहरहाल, पुराने अनुभवों को ध्यान में रखते हुए यूपीए की चेयरपर्सन सोनिया गांधी ने सरकार बनाने के लिए अपनी रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है। हालांकि भाजपा को पूरा विश्वास है कि भाजपा अकेल ही दम पर बहुमत हासिल करने में सक्षम है। भाजपा राज्य में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभर रही है।
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