नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एथलेटिक्स में भारत का प्रतिनिधित्व कर चुके 18 वर्षीय एथलीट पालिंदर चौधरी ने दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम स्थित छात्रावास के पंखे से लटककर खुदकुशी कर ली है। उनका शव एथलेटिक्स अकादमी के छात्रावास में अपने कमरे के पंखे से लटकता मिला। प्राथमिक जांच में कहा जा रहा है कि आर्थिक मामलों को लेकर पिछले दिनों अपने पिता से हुई अनबन के चलते खिलाड़ी दबाव में था, शायद यही उसकी इस हरकत का कारण बना हो। बावजूद इसके भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) ने अपने एथलेटिक्स की खुदकुशी के कारणों की जांच के लिए विभागीय जांच के आदेश दिए हैं। साई सचिव स्वर्ण सिंह की अध्यक्ष में एक समिति इस मामले की जांच करेगी।
जानकारी के मुताबिक , पालिंदर की मंगलवार सुबह अपने पिता से फोन पर बात हो रही थी। इस दौरान उसकी पिता से किसी मुद्दे को लेकर बहस हो गई। शाम को उसकी बहन पालिंदर से मिलने छात्रावास में आई थी। कहा जा रहा है कि पालिंदर ने अपनी बहन को खुदकुशी करने की धमकी दी और कुछ देर बाद उसके सामने ही खुदकुशी कर ली। इस पर उसकी बहन एकाएक चिल्लाती हुई कमरे से बाहर निकली। उसने वहां मौजूद लोगों और कर्मचारियों को इसकी जानकारी दी। उसे आनन फानन में सफदरजंग अस्पताल ले जाया गया, लेकिन तब तक उसका ब्रेन डेड हो गया था।
बता दें कि 100-200 मीटर की दौड़ में महारथ रखने वाले पालिंदर चौधरी इन दिनों जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम छात्रावास के कमरा नंबर 69 में रह रहा था। पिछले दो सालों से वह छात्रावास के एक ही कमरे में रह रहा था और दौड़ की ट्रैनिंग ले रहा था। मंगवार शाम जब 5 बजे वह अपने कमरे में गया था और उसके बाद उसका पंखे से झूलता शव देखा गया।
उसकी इस घटना से उसके साथी एथलीट और उसके कोच भी काफी स्तब्ध हैं। उनका कहना है कि पालिंदर खुदकुशी कर लेता ऐसा कभी सोचा नहीं था। उसने अपने मन के भावों को कभी चेहरे पर नहीं आने दिया। उसने कभी इतह के संकेत नहीं दिए कि इन दिनों वह तनाव या अवसाद में है।