देहरादून। राज्य का शिक्षा विभाग इन दिनों खासा चर्चा में है। डीएलएड कोर्स को लेकर शिक्षकों ने विभाग के खिलाफ ही मोर्चा खोल दिया है। स्कूलों में शारीरिक शिक्षा के बजाय सामान्य विषय पढ़ाने वाले सीपीएड,बीपीएड और डीपीएड कर चुके शिक्षकों को सरकार ने खुद को प्रशिक्षित श्रेणी में रखने को कहा था जबकि केन्द्रीय मानव संसाधन मंत्रालय ने ऐसे शिक्षकों को अप्रशिक्षित मानते हुए दो साल का डीएलएड कोर्स करने के निर्देश दिए थे। ऐसे में इन शिक्षकों के सामने एक असमंजस की स्थिति पैद हो गई है। सीपीएड-डीपीएड-बीपीएड शिक्षक महासंघ ने रेसकोर्स स्थित शिक्षक भवन में बैठक कर इस मुद्दे पर चर्चा की। शिक्षक महासंघ के महेंद्र मैठानी ने कहा कि वक्त सीपीएड-डीपीएड-बीपीएड शिक्षकों को नियुक्ति के समय शिक्षा विभाग ने खुद विशिष्ट बीटीसी का प्रशिक्षण दिया था। इसके बावजूद अब उन्हें अप्रशिक्षित शिक्षक माना जा रहा है। ऐसे में शिक्षकों में गुस्सा होना लाजमी है।
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