नैनीताल। कांग्रेस सरकार में विधानसभा में अवैध तरीके से नियुक्त हुए कर्मचारियों को हाईकोर्ट ने एक झटका दिया है। कोर्ट ने उन सभी कर्मचारियों को 9 अक्टूबर तक नियमित न करने तथा याचिकाकर्ता को प्रतिशपथ पत्र देने के निर्देश दिए हैं। बता दें कि इन कर्मचारियों की नियुक्ति के खिलाफ याचिका दायर कर कहा था कि इसमें नियमों का उल्लंघन किया गया।
नियमावली का उल्लंघन
गौरतलब है कि बागेश्वर के रहने वाले राजेश चंदोला ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। अपनी याचिका में उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार के द्वारा 16 दिसंबर से 22 दिसंबर 2016 के बीच विधानसभा नियमावली का उल्लंघन करते हुए 158 लोगों को चपरासी से लेकर अपर सचिव, निजी सचिव के पद पर नियुक्ति की गई थी। याचिका में इन नियुक्तियों को अवैध करार देते हुए निरस्त करने की मांग की गई थी।
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तत्कालीन विधानसभाध्यक्ष पर लगे आरोप
आपको बता दें कि मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति केएम जोसफ व न्यायमूर्ति आलोक सिंह की खंडपीठ ने याचिकाकर्ता को शपथ पत्र दाखिल करने के साथ ही 9 अक्टूबर तक इन कर्मचारी-अधिकारियों को स्थायी नहीं करने के निर्देश दिए हैं। यहां उल्लेखनीय है कि इस मसले को लेकर तत्कालीन विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल पर भाजपा ने गंभीर आरोप लगाए थे।