देहरादून। राज्य में पर्यटन को बढ़ावा देने की योजना को एक बड़ा झटका लगा है। शासन ने केएमवीएन और जेएमवीएन के पर्यटन विकास परिषद में विलय को मना कर दिया है। अब कर्मचारी भी परिषद में विलय के बिना एकीकरण के लिए तैयार नहीं हैं। यहां बता दें कि प्रदेश में पर्यटन को और रफ्तार देने के मकसद से दोनों पर्यटन एजेंसी के एकीकरण को लेकर काफी समय से बात चली रही है। कुछ समय पहले तो यह बात अपने आखिरी चरण में पहुंच गई थी।
योजना खटाई में
गौरतलब है कि पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर की तैनाती के बाद दोनों एजेंसियों के बीच नए सिरे से बात शुरू की गई। इस बार पर्यटन विकास परिषद से जुड़े कर्मचारियों ने दोनों एजेंसियों के साथ एकीकरण का विरोध शुरू कर दिया। अब बताया जा रहा है कि निगमों के परिषद में विलय को लेकर वित्त विभाग भी तैयार नहीं है। ऐसे में एकीकरण की योजना खटाई में पड़ती दिखाई दे रही है। हालांकि सरकार दोनों निगमों के एकीकरण को तो तैयार है लेकिन परिषद में विलय की फाइल बंद कर दी गई है।
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कर्मचारियों का विरोध
यहां बता दें कि कर्मचारी एकीकरण को तैयार हैं लेकिन उनका कहना है कि पहले निगमों का विलय पर्यटन विकास परिषद में किया जाए। जबतक निगमों को परिषद में विलय नहीं किया जाएगा वे एकीकरण को मंजूर नहीं करेंगे। फिलहाल विलय की प्रक्रिया पर रोक लगा दी गई है।