नई दिल्ली। हिन्दू धर्म में सप्ताह के सातों दिन किसी न किसी देवी-देवता को समर्पित हैं। ऐसे ही मंगलवार का दिन भगवान हनुमानजी को समर्पित है। क्या आप जानते हैं कि मंगलवार को ही क्यों हनुमान जी का व्रत रखा जाता है ? पुरानी मान्यताओ के अनुसार मंगलवार को ही हनुमान जी का जन्म हुआ था इसीलिए मंगलवार को हनुसान जी के जन्मदिन के रूप में मनाते हैं। हनुमान जी को मंगल ग्रह का नियंत्रक भी माना जाता है। कई भक्त अपने कष्टों के निवारण के लिए मंगलवार को हनुमान जी का व्रत भी रखते हैं। ऐसे भक्तों को क्या कहना चाहिए और क्या नहीं इसके बारे में बता रहें हैं हम....
व्रत में न करें नमक का सेवन
भक्तों को सुबह स्नान के बाद हनुमान चालीसा का जाप करना चाहिए। बाल और दाढ़ी नहीं कटवानी चाहिए। इसी तरह व्रत रखने वाले व्यक्ति को व्रत वाले दिन नमक का सेवन नहीं करना चाहिए। दूध और दही से उपवास खोलना चाहिए। भगवान हनुमान को गुड़ और गेहूं का भोग लगाना चाहिए। इससे हनुमान जी प्रसन्न होते हैं। मंगलवार के दिन भूल से भी काले रंग के कपड़े नहीं पहनने चाहिए। लाल रंग के कपड़े पहनने से संकट मोचक खुश होते हैं। मंगलवार के दिन बूंदी और लड्डू का प्रसाद बांटना चाहिए।
क्यों पसंद है हनुमानजी को सिंदूर
हनुमानजी को सिंदूर चढ़ाने के पीछे एक पौराणिक मान्यता है। कि एक बार सीता माता की मांग में सिंदूर को देखकर हनुमान ने सीता माता से पूछा कि वह सिंदूर क्यों लगाती है, सीता माता ने बडे प्यार से जवाब देते हुए कहा कि वह अपने पति की लम्बी उम्र के लिए सिंदूर लगाती हैं इस बात से प्रभावित होकर हनुमानजी ने अपने पूरे शरीर पर सिंदूर लगा लिया और जब सीता माता ने हनुमान से पूछा की तुमने ऐसा क्यों किया तो हनुमान ने कहा की मैं अपने अराध्य को पूरे शरीर पर सिंदूर लगाकर अमर कर दूंगा।