Wednesday, April 24, 2024

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किसानों का देशव्यापी चक्का जाम सांकेतिक ही नजर आया , दिल्ली में नहीं घुसा कोई किसान 

अंग्वाल न्यूज डेस्क
किसानों का देशव्यापी चक्का जाम सांकेतिक ही नजर आया , दिल्ली में नहीं घुसा कोई किसान 

नई दिल्ली । कृषि कानूनों के विरोध में आंदोलन कर रहे किसानों ने 1 फरवरी को सांसद मार्च का रद्द करने के बाद 6 फरवरी को देशव्यापी चक्का जाम का ऐलान किया था । गत 26 जनवरी को किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान जिस तरह से उपद्रव हुआ , उसे ध्यान में रखते हुए शनिवार को दिल्ली पुलिस के साथ ही देश में कई जगहों पर अलर्ट जारी किया गया था , लेकिन इस बार किसानों का यह देशव्यापी चक्का जाम मात्र सांकेतिक ही नजर आया । देश के कुछ ही इलाकों में किसानों का यह चक्का जाम मात्र कुछ देर के लिए नजर आया । इस बीच दिल्ली (Delhi) में शहीदी पार्क के सामने प्रदर्शन करने आए 60 लोगों को दिल्ली पुलिस (Delhi Police) ने हिरासत में लिया है । ये सभी लोग लेफ्ट का झंडा लेकर आईटीओ (ITO) पर प्रदर्शन कर रहे थे । हालांकि भारतीय किसान यूनियन ने अपने इस चक्का जाम को सफल करार दिया । वहीं भाजपा ने कहा कि विफल चक्का जाम से साफ हो गया कि दिल्ली बॉर्डर तक सीमित इस किसान आंदोलन कितना देशव्यापी है । ढाई राज्यों से बाहर यह आंदोलन नहीं चल पा रहा है ।

बता दें कि कृषि कानूनों (Farm Bills) के खिलाफ किसानों का देशव्यापी चक्का जाम खत्म हो गया है । . यूपी और उत्तराखंड को छोड़कर देश के बाकी राज्यों में दोपहर 12 बजे देशव्यापी चक्का चाम के दौरान किसानों ने हरियाणा पंजाब में कुछ जगहों पर सड़कों पर जाम लगाया । दिल्ली में गणतंत्र दिवस जैसी कोई अप्रिय घटना न हो इसके लिए दिल्ली पुलिस ने में भी सुरक्षा के खास इंतजाम किए गए थे । 


कृषि कानूनों के खिलाफ अपने आंदोलन के तेज करते हुए किसानों ने आज दिल्ली, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड को छोड़कर अन्य सभी राज्यों में चक्का जाम करने का ऐलान किया था । लेकिन राकेश टिकैत के इस फैसले के खिलाफ जाकर कुछ लोग आईटीओ के पास हाथों में झंडा लेकर प्रदर्शन करने पहुंचे। वहां प्रदर्शन की जिद्द पर अड़े इन लोगों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया । ये सभी वामपंथी महिला संगठन की सदस्य हैं जिसका नाम जनवादी महिला समिति है । इसके अलावा दिल्ली में जेएनयू के छात्रों के साथ भी कुछ वामपंथियों के एक ग्रुप ने कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन किया । इसके बाद प्रदर्शनकारियों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया । 

हालांकि इससे पहले दिल्ली पुलिस ने हिंसा भड़कने की आशंका के चलते विश्वविद्यालय मेट्रो स्टेशन, मंडी हाउस, आईटीओ, लाल क़िला, जामा मस्जिद, जनपथ, केंद्रीय सचिवालय और दिल्ली गेट मेट्रो स्टेशन के एंट्री और एक्सिट गेट को बंद करा दिया था । इस सबसे इतर किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि हम सरकार से बात करने के लिए तैयार हैं , सरकार हमसे बात करे । 

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