नई दिल्ली । भारतीय रेल मंत्रालय जल्द देशभर के गरीबों और निम्न मध्य वर्गीय परिवारों के लिए चलाई जा रही गरीब रथ एक्सप्रेस को बंद करने जा रहा है । मिली जानकारी के अनुसार , रेलवे सस्ते एसी रेल सफर की योजना के तहत चलाई जा रहीं गरीब रथ ट्रेनों को संचालन बंद कर उन्हें मेल या एक्सप्रेस ट्रेनों में बदलने जा रही है । इस सब के लिए रेलवे ने अपनी रणनीति पर काम करना शुरू भी कर दिया है । इसी क्रम में गरीब रथ ट्रेन के लिए नए कोच या डिब्बे बनाने पर रोक लगाने का आदेश भी रेलवे जारी कर चुकी है । इससे साफ हो रहा है कि आने वाले समय में देश में गरीब रथ की जगह मेल या एक्सप्रेस ट्रेनें चलाई जाएंगी । मंत्रालय की तरफ से गरीब रथ ट्रेनों को बंद या मेल /एक्सप्रेस ट्रेनों में बदलने की की दिशा में भी कदम बढ़ाया जा चुका है।
रेलवे के सूत्रों का कहना है कि रेल मंत्रालय गरीब रथ को बंद कर तीन एसी ट्रेनों को चलायाएगा । इसके जरिये रेलवे को कमाई भी होगी और गरीब रथ ट्रेनों के रखरखाव में होने वाले खर्च से भी बचा जाएगा । गरीब रथ एक्सप्रेस रेलवे की तरफ से चलाई जाने वाली कम किराये की एसी ट्रेन हैं । इनका उद्देश्य कम खर्च में यात्रियों को वातानुकूलित सफर का लाभ देना है।
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बता दें कि वर्ष 2006 में तत्कालीन रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव ने गरीब रथ एक्सप्रेस ट्रेनों को शुरू किया था । लेकिन अब 13 साल के बाद रेलवे गरीबों और निम्न मध्यवर्गीय लोगों को सस्ते में एसी की रेल यात्रा कराने वाली इस रेलसेवा को बंद करने जा रही है । रेलवे ने अपनी योजना के अनुसार , काठगोदाम- जम्मू और काठगोदाम- कानपुर गरीब रथ ट्रेन को मेल एक्सप्रेस ट्रेन से बदला दिया है । गरीब रथ के बंद होने और मेल एक्सप्रेस ट्रेनों के चलाए जाने का मतलब है कि रेल किराया भी बढ़ जाएगा । मसलन अगर आप दिल्ली से बांद्रा गरीब रथ से सफर करते हैं तो आपको तकरीबन 1020 रुपये देने होंगे. जबकि मेल या एक्सप्रेस ट्रेन के जरिये इसी सफर के लिए आपको 1500-1600 रुपये चुकाने होंगे ।
रेलवे से जुड़े अफसरों का कहना है कि मंत्रालय की ओर से पहले ही गरीब रथ के नए कोच बनाने के लिए मना कर दिया गया है। इसके बाद अब इस ट्रेन को परिचालन सूची से बाहर करने की रणनीति बनाई गई है। इस समय रेलवे 26 जोड़े गरीब रथ ट्रेन चला रहा है , लेकिन 12-14 साल पुराने इन ट्रेनों के डिब्बों का रख रखाव अब रेलवे के लिए काफी चुनौती भरा हो गया है।
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