देहरादून । उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव हरीश रावत का कहना है कि भाजपा के राज में गंगा नहीं बल्कि गंगा भक्त साफ हो रहे हैं। उन्होंने केंद्र और राज्य की भाजपा सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि गरीब सवर्णों को 10 फीसदी आरक्षण बीरबल की खिचड़ी जैसा है। रोजगार के क्षेत्र में भाजपा ने अनर्थ कर दिया है और इसके नाम पर आरक्षण दिया जा रहा है। यह ऐसी खिचड़ी है, जिसमें बीरबल की खिचड़ी से भी ज्यादा समय लगेगा। भले की कांग्रेस ने इस बिल का समर्थन किया हो लेकिन रोजगार के नाम पर जिस तरह युवाओं को ठगा गया है कि हम उसकी निंदा करते हैं।
इस दौरान उन्होंने कहा कि इस समय गंगा के लिए बलिदान देने वाले लोगों की संख्या में इजाफा हुआ है लेकिन केंद्र और राज्य की भाजपा सरकारें गंगा की सफाई को लेकर उदासीन हैं। इस दौरान उन्होने कहा कि कांग्रेस अपने घोषणा पत्र में गंगा को लेकर कुछ मुद्दे जरूर रखेगी। उन्होंने कहा कि कांग्रेस गंगा के मामले में पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के एंजेंडे पर ही अपनी आगामी रणनीतियां बनाएगी।
हरीश रावत ने गंगा के लिए अपना जीवन त्याग देने वाले सानंद का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि गंगा के लिए शहीद हुए सानंद के लिए जो पत्र कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने लिखा था। हम उसी को अपना गंगा नीति का आधार बनाएंगे। इस दौरान उन्होंने ऐलान किया कि गंगा को लेकर कुछ समाजसेवी संगठनों और एनजीओ के दिल्ली कूच में कांग्रेस भी शिरकत करेगी।
रावत ने कहा कि गैरसैंण में त्रिवेंद्र सरकार के जमाने में सारे काम ठप हो गए हैं। विधानसभा में गैरसैंण में बजट सत्र कराने का संकल्प लिया गया था, मगर बगैर इसे खत्म किए इस बार सत्र देहरादून में कराया जा रहा है। यह गैरसैंण का अपमान है। पूर्व सीएम हरीश रावत ने कहा कि विधानसभा के बजट सत्र के दौरान गन्ना किसानों के मामले में वह उपवास रखेंगे।
इतना ही नहीं हरदा ने कहा कि गरीब सवर्णों को 10 फीसदी आरक्षण बीरबल की खिचड़ी जैसा है। रोजगार के क्षेत्र में भाजपा ने अनर्थ कर दिया है और इसके नाम पर आरक्षण दिया जा रहा है। यह ऐसी खिचड़ी है, जिसमें बीरबल की खिचड़ी से भी ज्यादा समय लगेगा। भले की कांग्रेस ने इस बिल का समर्थन किया हो लेकिन रोजगार के नाम पर जिस तरह युवाओं को ठगा गया है कि हम उसकी निंदा करते हैं।