देहरादून। एनसीईआरटी ने राज्य के हजारों छात्र-छात्राओं को बड़ी राहत दी है। एनसीईआरटी ने सरकार के अनुरोध को मानते हुए बुक वेंडर्स को पर्याप्त मात्रा में किताबें उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। इससे प्रदेश सरकार ने राहत की सांस ली है। बता दें कि राज्य में कक्षा 3 से लेकर 12वीं तक के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले करीब 7 लाख छात्र-छात्राओं को एनसीईआरटी की किताबों की कमी का अंदेशा जताया जा रहा है लेकिन एनसीईआरटी के आदेश के बाद अब इन छात्रों को राहत मिली है।
गौरतलब है कि पिछले महीने 13 जून को मंत्रिमंडल ने उत्तरप्रदेश के प्रकाशकों की सस्ती किताबों की मदद लेने का निर्णय लिया था। इसके लिए शासनादेश भी जारी किए जा चुके थे। यहां बता दें कि साल 2018-19 के लिए सरकार ने मुफ्त में किताबें छपवाने से खुद ही अपने कदम वापस खींच लिए थे जिसके बाद से सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
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यहां बता दें कि राज्य में कक्षा 1 से 8वीं तक सभी छात्र-छात्राओं, कक्षा 9 से 12वीं तक अध्ययनरत सभी छात्रओं और अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति व पिछड़ी जाति के छात्र-छात्राओं को मुफ्त किताबों के एवज में किताबों की कीमत डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर योजना के तहत उनके बैंक खातों में भेजी जा रही है। इस वजह से करीब 7 लाख से ज्यादा छात्र-छात्राओं को 30 लाख से ज्यादा किताबें बाजार से खरीदनी होंगी लेकिन इतनी संख्या में किताबों की छपाई सरकार की ओर से नहीं कराई जा रही है।