लखनऊ। उत्तरप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ‘वन नेशन वन इलेक्शन’ की चुनौती को स्वीकार करते हुए भाजपा की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। लखनऊ में पार्टी के कार्यालय में कैराना और नूरपुर के विजयी उम्मीदवारों को बधाई देते हुए अखिलेश यादव ने कहा कि ये उपचुनाव देश की जनता के लिए एक बड़ा संदेश है। उन्होंने कहा कि यह चुनाव किसानों और दलितों के विश्वास की जीत है। भाजपा पर तंज करते हुए उन्होंने कहा कि किसानों की भलाई के दावे करने वाले लोग यह समझ लें कि किसानों का कितना विकास हुआ है?
गौरतलब है कि भाजपा के द्वारा पूरे देश में लोकसभा और विधानसभा दोनों के चुनाव एक साथ ही कराने की वकालत की जा रही है। इसके लिए ‘वन नेशन वन इलेक्शन’ पर जोर दिया जा रहा है। अब अखिलेश यादव ने भाजपा के इस ‘वन नेशन वन इलेक्शन’ वाली चुनौती को स्वीकार करते हुए उल्टा दांव चल दिया है। अखिलेश यादव ने कहा कि 2019 में लोकसभा के चुनाव के साथ ही विधानसभा के चुनाव भी कराया जाना चाहिए ताकि जनता और देश के सामने सच्चाई आ सके।
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भाजपा पर तंज कसते हुए कहा अखिलेश ने कहा कि ये सरकार उद्घाटन का उद्घाटन करती है। वे यहीं नहीं रुके उन्होंने यूपी के मंत्री ओमप्रकाश राजभर के केशव प्रसाद मौर्य की जगह योगी आदित्यानाथ को सीएम बनाए जाने वाले बयान को लेकर भी भाजपा पर तंज किया। अखिलेश यादव ने कहा कि ओपी राजभर ऐसी बातें समाजवादी पार्टी से क्यों रहे हैं उन्हें इन बातों को भाजपा के मंच पर रखनी चाहिए।
बता दें कि ओपी राजभर से जब इस बारे में सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि यूपी का चुनाव केशव प्रसाद मौर्य के नेतृत्व में लड़ा गया था लेकिन बाद में योगी जी को मुख्यमंत्री बना दिया गया, इससे गरीबों और दलितों में काफी नाराजगी है। यहां बता दें कि पेट्रोल-डीजल के लगातार बढ़ते दाम और महंगाई की वजह से किसान और आम लोग सरकार के विरोध में खड़े होने लगे हैं।