इस्लामाबाद।
पाकिस्तान अपने स्कूलों में पढ़ने वाले स्टूडेंट्स के मन में भारत के खिलाफ जहर घोल रहा है। इसके लिए उसने स्कूली किताबों को अपना हथियार बनाया है। इन किताबों के जरिए पाकिस्तान में बच्चों को भारत—पाकिस्तान के बीच हुए बंटवारे के लिए हिंदुओं को जिम्मेदार बताया जा रहा है। यह गलत इतिहास खुले तौर पर पाक के सरकारी स्कूलों में पढ़ाया जा रहा है।
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जानकारी के अनुसार, पाकिस्तान में 10वीं कक्षा में स्कूलों में पढ़ाई जाने वाली किताब में भारत के प्रति जहर भरा पड़ा रहा है। पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में सरकार से मान्यता प्राप्त 10वीं क्लास की इतिहास की किताबों में लिखा है कि हिंदू ही 1947 के बंटवारे के लिए जिम्मेदार थे। इन किताबों फर्जी तथ्यों के जरिए पढ़ाया जा रहा है कि बंटवारे के समय हिंदुओं ने मुसलमानों को मौत के घाट उतारा। उनकी संपत्ति लूटी और उन्हें भारत से बाहर जाने के लिए मजबूर किया।
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बता दें कि 1947 में देश के विभाजन के समय हुई हिंसा में 20 लाख लोग मारे गए थे। उस समय हुई नरसंहार की घटनाओं ने भारत और पाकिस्तान के बीच शत्रुता और कड़वाहट के बीज बो दिए थे।
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इतिहास को गलत ढंग से किया पेश
पाकिस्तान में इन किताबों में इतिहास को तोड़—मरोड़कर पेश किया गया है। राजनैतिक विशेषज्ञों के अनुसार सीमापार पाकिस्तान में छात्रों को इतिहास को अपने पक्ष में तोड़-मरोड़कर पढ़ाया जा रहा है। इससे अरसे से कट्टर विरोधी रहे दोनों देशों के बीच सद्भावना पनपने की उम्मीद बहुत कम है। इतना ही नहीं इन किताबों में आजादी की लड़ाई में महात्मा गांधी के योगदान को नगण्य बताते हुए बंटवारे के लिए असली जिम्मेदार मुस्लिम लीग को एक हीरो के तौर पर दर्शाया गया है।