नई दिल्ली। रेलवे ने ट्रेनों की लेटलतीफी से बचने के लिए उनके पहुंचने के समय में वृद्धि करने का फैसला किया है। 12 जुलाई से 93 ट्रेनों के गंतव्य तक पहंचुने के समय में 15 मिनट से लकर एक घंटे की वृद्धि की गई है। जिन ट्रेनों के समय में वृद्धि की गई वो उत्तर रेलवे से चलती हैं। हालांकि रेलवे का कहना है कि इन ट्रेनों का समय अस्थाई तौर पर बढ़ाया गया है, सुरक्षा कार्यों के पूरा होने के बाद ट्रेनों को पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार चलाया जाएगा।
रूट पर चल रहे ढांचागत और मरम्मत कार्यों के चलते ट्रेन अक्सर लेट हो जाती है, इससे सफर करने वाले यात्रियों को दिक्कत होती है। खासकर उत्तर भारत में यात्रियों को ऐसी दिक्कतों का सामना जयादा करना होता है। ऐसे में रेलवे ने ट्रेनों के गंतव्य तक पहुंचने के समय में वृद्धि करके देरी को कम करने की कोशिश की है। नई व्यवस्था में बिहार यूपी से दिल्ली पहुंचने वाली 18 ट्रेनों के समय में भी वृद्धि की गई है। वाराणसी से नई दिल्ली तक चलने वाली काशी विश्वनाथ ट्रेन अब 45 मिनट विलंब से यानी सुबह 7 बजे दिल्ली पहुंचेगी। वहीं प्रतापगढ़ से पुरानी दिल्ली तक चलने वाली पद्मावत एक्सपे्रस आधे घंट देरी से पहुंचेगी।
बता दें कि भारतीय रेल से रोजाना लाखों लोग सफर करते हैं। देश में लंबी दूरी का सफर तय करने के लिए लोग ट्रेन को ही प्राथमिकता देते हैं। लेकिन ट्रेनों के घंटों देरी से चलने के कारण लोगों को असुविधा का सामना करना पड़ता है। ट्रेनों के देरी से परिचालन को लेकर कुछ दिनों पहले रेल मंत्री पीयूष गोयल ने कहा था कि जुलाई से समय से चलाने की कोशिश की जाएगी। देखना दिलचस्प होगा कि आने वाले समय रेलवे क्या कदम उठाती है।