नई दिल्ली। टेरर फंडिग के आरोप में गिरफ्तार हुर्रियत कॉन्फ्रेंस के नेताओं को शुक्रवार दोपहर एनआईए की विशेष अदालत में पेश किया गया। इस दौरान एनआईए ने आरोपियों से पूछताछ के लिए उनकी रिमांड की मांग नहीं की थी, जिसके चलते कोर्ट ने हुर्रियत नेता एसएएस गिलानी के दामाद समेत चार कश्मीरी अलगाववादियों को एक बार फिर 10 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। इसके साथ ही कोर्ट ने गिरफ्तार अन्य अलगाववादियों को एक माह के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
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आरोपियों की हुई कोर्ट में पेशी
पाकिस्तान से पैसे लेकर कश्मीर घाटी में हिंसा फैलाने के आरोप में हुर्रियत के अलगाववादियों नेताओं को राष्ट्रीय जांच एंजेसी ने हिरासत में लिया था। इन पर आरोप लगाया है कि यह घाटी में हिंसक गतिविधियों को बढ़ावा देते हैं। इसके लिए इन्हें पाकिस्तान की तरफ से मोटी रकम दी जाती है। कोर्ट ने शुक्रवार को एनआईए की विशेष अदालत में जस्टिस ओ.पी सैनी के सामने पेश किया। यहां से कोर्ट ने उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
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हुर्रियत नेताओं को नहीं मिल रहें वकील
हुर्रियत के नेताओं की गिरफ्तारी के बाद से एक बात ओर उजागर हुई जिसमें उनके मामलें को कोर्ट मे पेश करने के लिए उनकी ओर कोई वकील तैयार नहीं हो रहा था।ऐसे में हुर्रियत उन वकीलों से बातचीत के प्रयास कर रहा है जो कहीं न कहीं अलगाववादी नेताओं के पक्ष में बयान देते रहें हैं।