नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के द्वारा शुक्रवार को राफेल सौदे को लेकर दिए गए फैसले का असर लोकसभा में भी देखने को मिला। केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कांग्रेस पर जोरदार हमला करते हुए आरोप लगाया कि उसने सिर्फ सियासी फायदे के लिए देश की जनता को गुमराह किया। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के तीन जजों की बेंच के द्वारा दिए गए फैसले का हवाला देते हुए कहा कि कोर्ट ने स्पष्ट कर दिया कि राफेल सौदे की खरीद प्रक्रिया में कोई गड़बड़ी नहीं है। कांग्रेस पर सरकार की छवि धूमिल करने का आरोप लगाते हुए राजनाथ सिंह ने कांग्रेस पार्टी और अध्यक्ष राहुल गांधी ने सदन में आकर माफी मांगने की मांग की है। इसके बाद भारी शोर-शराब के बीच लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने सदन को सोमवार तक के लिए स्थगित कर दिया।
गौरतलब है कि आज सुबह सुप्रीम कोर्ट ने राफेल विमान सौदे पर अपना फैसला सुनाते हुए कहा कि विमान खरीद प्रक्रिया का अध्ययन करने के बाद उन्हें लगता है कि इसमें कोई गड़बड़ी नहीं हुई है। इसके साथ ही कोर्ट ने कहा कि विमानों की गुणवत्ता पर भी किसी तरह के सवाल नहीं उठाए जा सकते हैं। मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली तीन जजों की बेंच ने कहा कि विमानों की कीमत सरकार से पूछना उनका काम नहीं है। इसके साथ ही बेंच ने इससे जुड़ी सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया।
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यहां बता दें कि सर्वोच्च अदालत का फैसला आने के बाद गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि यह मामला पहले से ही पूरी तरह से साफ थी। इसमें किसी तरह की कोई गड़बड़ी नहीं हुई है। वहीं लोकसभा में उन्होंने कांग्रेस पार्टी पर आरोप लगाते हुए कहा कि उनका भ्रष्टाचार का इतिहास रहा है। इनके शासनकाल में कई मंत्री जेल जा चुके हैं। राजनाथ सिंह ने कहा कि कांग्रेस का मकसद था कि ‘‘हम तो डूबे हैं सनम, तुम्हंे भी ले डूबेंगे’’। उन्होंने फ्रांस के राष्ट्रपति, डसाॅल्ट कंपनी के सीईओ और पूर्व राष्ट्रपति के बयानों का हवाला देते हुए कहा कि पहले ही मामला साफ था। राजनाथ सिंह ने कांग्रेस पार्टी की जेपीसी की मांग को खारिज कर दिया। इसके साथ ही गृहमंत्री ने कांग्रेस पार्टी और अध्यक्ष राहुल गांधी से सदन में आकर माफी मांगने की मांग की है। भारी शोर-शराबे के बीच लोकसभा की कार्यवाही को सोमवार तक के लिए स्थगित कर दिया गया है।