नई दिल्ली । सुप्रीम कोर्ट में पिछले सात दिनों से निजता के मौलिक अधिकार को लेकर चली आ रही बहस बुधवार को पूरी हो गई। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट के 9 जजों की संवैधानिक बेंच ने इस मुद्दे पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। बहस पूरी होने के बाद अब यह बेंच पहले इस बात पर आम सहमति बनाएगी कि निजता का अधिकार, मौलिक अधिकारों में शुमार है भी या नहीं। इसके बाद 5 जजों की संवैधानिक बेंच आधार की वैधानिकता पर सुनवाई करेगी।
बता दें कि सेंटरों पर आधार कार्ड बनवाने के लिए डाटा इकट्ठा करने के मसले को लेकर पिछले दिनों निजता पर यह बहस शुरू हुई थी। केंद्र सरकार ने इस दौरान कहा कि डाटा प्रोटेक्शन पर कानून ड्राफ्ट करने के लिए एक्सपर्ट कमेटी का गठन कर दिया गया है। इसके बाद सरकार ने बताया कि डाटा प्रोटोक्शन पर विचार करने वाली 10 सदस्यीय कमेटी के अध्यक्ष सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज बीएन श्रीकृष्णा हैं। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने साफ कहा था कि वह आधार कार्ड को खत्म करने नहीं जा रही है।
इससे इतर, केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा- आधार का पूरा डाटा पूरी तरह से सुरक्षित है। यह डाटा इसलिए सुरक्षित है क्योंकि इस काम में से जुड़ा सर्वर भारत में ही है। लोकसभा में साइबर सुरक्षा को लेकर पूछे गए एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा- अगर डेटा प्रोसेसिंग सेंटर भारत से बाहर है, तो प्लेटफॉर्म पर काम करने वालों को यह समझने की जरूरत है कि यहां उचित कानून है।