नई दिल्ली । देश की रक्षा करते हुए सर्वोच्च बलिदान देने वाली शूरवीरों की विधवाओं के लिए मोदी सरकार ने एक नई व्यवस्था की है। सरकार की नई व्यवस्था के तहत अब इन शहीदों की विधवाओं को पुनर्विवाह के बाद भी बहादुरी अवार्ड के तहत मिलने वाली राशि मिलती रहेगी। रक्षा मंत्रालय ने आदेश जारी करते हुए कहा है कि पहले जहां इन विधवाओं को सिर्फ शहीद के भाई से शादी करने पर ही ये राशि दी जाती थी, अब ये राशि किसी अन्य से भी पुनर्विवाह करने पर मिलती रहेगी।
बता दें कि देश के लिए सर्वोच्च बलिदान देने वाले शहीदों समेत सेना के जवानों को रक्षा मंत्रालय की ओर से कई श्रेणियों में बहादुरी पुरस्कार दिए जाते हैं। ऐसा पुरस्कार प्राप्त करने वाले को पूरी उम्र इस तरह की मासिक पुरस्कार राशि मिलती है। कई बार ये पुरस्कार शहीदों को मिलते हैं, जिसकी पुरस्कार राशि शहीदों की विधवाओं को मिलती है।
अभी तक के नियमों के मुताबिक ये पुरस्कार राशि शहीद की विधवाओं को दी जाती थी, लेकिन अगर वह शहीद के भाई को छोड़कर किसी दूसरे से पुनिर्विवाह करती थी तो उसे ये पुरस्कार राशि मिलना बंद हो जाता था। अब सरकार ने पुराने नियमों में संशोधन करते हुए शहीद के भाई के अलावा अन्य से भी पुनिर्विवाह करने पर पुरस्कार राशि को जारी रखने का फैसला लिया है।