देहरादून। अगर आप उत्तराखंड के रहने वाले और पीसीएस परीक्षा की तैयारी में जुटे हैं तो सावधान हो जाएं। अब इसमें बदलाव किया जा रहा है। उत्तराखंड लोक सेवा आयोग ने लंबे समय से चली आ रही मांग को मानते हुए सिविल सर्विसेज एप्टीट्यूड टेस्ट (सी-सैट) क्वालिफाइंग करने का प्रस्ताव सरकार को भेज दिया है। अब सरकार को इस पर फैसला लेना है। इससे पहले सीसैट लागू करने वाला संघ लोक सेवा आयोग(यूपीएससी) खुद इसे क्वालिफाइंग कर चुका है। बता दें कि ऊधमसिंह नगर के रहने वाले इकबाल अहमद ने सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत उत्तराखंड लोक सेवा आयोग से सूचना मांगी थी। इसमें पूछा गया था कि क्या सी-सैट को क्वालिफाइंग कर दिया गया है?
गौरतलब है कि आयोग की तरफ से दिए गए जवाब में साफ कर दिया है कि वह इसे क्वालिफाइंग करने का प्रस्ताव शासन को भेज चुके हैं। अब गेंद सरकार के पाले में है जैसे ही वहां से हरी झंडी मिलेगी इस प्रस्ताव को पास कर दिया जाएगा। बता दें कि एक लंबे समय से प्रदेश में सी-सैट को क्वालिफाइंग करने की मांग की जा रही थी।
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आपको बता दें कि साल 2011 में यूपीएससी ने सी-सैट लागू किया था। इसे शामिल करने से 400 अंकों का जनरल स्टडीज और 200 अंकों का सी-सैट होता है। हिंदी माध्यम के छात्र अंग्रेजी कांप्रिहेंशन के सवालों में फंस जाते थे क्योंकि इन सवालों का हिंदी अनुवाद काफी जटिल रहता था। इसे समझने में काफी समय गुजर जाने के कारण हिंदी मीडियम के छात्र पिछड़ जाते थे। सी-सैट के लागू होने के बाद भी दो ही पेपर होते थे लेकिन पहला भाग ऑप्शनल नहीं रहा था। इसमें ताजा घटनाक्रम, इतिहास, भूगोल, अर्थशास्त्र, विज्ञान के अलावा कई अन्य विषयों को भी शामिल कर दिया गया था। इसको लेकर पूरे देश में युवाओं ने काफी आंदोलन भी किया था। उनका कहना था कि इससे हिंदी माध्यम वाले छात्रों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था। अब यूपीएससी ने इसे क्वालिफाइंग कर दिया तो राज्य में भी इसे क्वालिफाइंग करने की मांग की जा रही है। अब यूपीएससी ने सी-सैट को क्वालिफाइंग कर दिया था इसके बाद देश के ज्यादातर राज्य सी-सैट को क्वालिफाइंग कर चुके हैं। उत्तराखंड में अभी तक आयोग इस बारे में कोई निर्णय नहीं ले पाया है जबकि यहां भी नौजवान पिछले 2 सालों से सीसैट को क्वालिफाइंग करने की मांग कर रहे हैं।