नई दिल्ली। दिल्ली सरकार और IAS अधिकारियों के बीच 4 महीनों से चल रही तनातनी में अब नरमी के संकेत मिल रहे हैं। दोनों के बीच की तकरार सोमवार को खत्म हो सकती है। रविवार को पीएम आवास तक मार्च के बाद केजरीवाल ने IAS अधिकारियों से एक बार फिर काम पर आने की अपील की। सोमवार को IAS अधिकारी केजरीवाल की अपील पर फैसला ले सकते हैं। ऐसे आसार हैं कि आज दोनों पक्षों में सुलह हो सकती है।
गौरतलब है कि रविवार को केजरीवाल ने सोशल मीडिया पर ट्वीट करते हुए कहा कि IAS अधिकारी हमारे परिवार का हिस्सा हैं। अफसर काम पर लौट आएं उनकी सुरक्षा की पूरी जिम्मेदारी ली जाएगी।
IAS एसोसिएशन ने खुद पर लगे आरोप को खारिज करते हुए कहा कि कोई भी आईएएस अधिकारी हड़ताल पर नहीं है। वो रोजाना दफ्तर जाते हैं और काम करते हैं कुछ अधिकारी तो छुट्टियों में भी काम करते हैं।
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अधिकारियों का कहना है कि वे काम के दौरान खुद को सुरक्षित महसूस नहीं करते हैं। IAS एसोसिएशन की मनीषा सक्सेना का कहना है कि दिल्ली के आईएएस अधिकारियों की हड़ताल की खबर बिल्कुल झूठी है। हम सरकार की बैठक में शामिल हो रहे हैं और अपना काम भी कर रहे हैं पर अधिकारी जिन मीटिंग में सेफ फील नहीं करते हैं, वहां नहीं जाते हैं। सुरक्षा और आत्मसम्मान सबसे पहले आता है और नियम-कायदे बाद में, हाल ही में चीफ सेक्रेटरी के साथ जो बर्ताव हुआ, उससे अधिकारियों का मनोबल गिरा है। ऐसे में वह खुद को सुरक्षित महसूस नहीं करते हैं। उन्होंने बताया कि दिल्ली में राशन की डोर टू डोर डिलीवरी की फाइल आईएएस का पास लंबित नहीं हैं।
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यहां आपको बता दें कि एसोसिएशन ने बताया कि मीटिंग में कैमरा लगा होने से सुरक्षा की गारंटी नहीं मिलती। सोच और व्यवहार बदलने की जरूरत है। चीफ सेक्रेटरी के साथ जो हुआ उसके बाद सरकार की ओर से कोई हमतक नहीं पहुंचा। मुख्यमंत्री हमारी सुरक्षा सुनिश्चित करें ये हमारी प्रार्थना है। आईएएस अधिकारी वर्षा जोशी ने कहा, 'हम डरे हुए हैं और पीड़ित महसूस कर रहे हैं। हमें राजनीतिक कारणों से इस्तेमाल किया जा रहा। हमें हमारा काम करने दें।