नई दिल्ली । लोकसभा में शुक्रवार को हैदराबाद एनकाउंटर का मुद्दा उठा । इस दौरान कई सांसदों ने पुलिस की इस कार्रवाई पर बयान दिए । इस दौरान कांग्रेस समेत कुछ अन्य दलों के नेताओं द्वारा यूपी के उन्नाव रेप कांड का मुद्दा उठाते हुए भाजपा को घेरा । इस सब के बीच केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने एक बार फिर विपक्षी दलों के नेताओं को जमकर आड़े हाथों लिया । उन्होंने इस मामले में धर्म का एंगल लाने पर विपक्षी पार्टियों पर जमकर हल्ला बोला । उन्होंने कहा कि महिला सम्मान के विषय में सांप्रदायिक एंगल जोड़ना गलत होगा । उन्होंने कहा कि आज बंगाल के एक सांसद यहां पर मंदिर का नाम ले रहे थे और वो हैदराबाद-उन्नाव की घटना के बारे में बोल रहे थे, लेकिन आखिर मालदा में क्या हुआ उस पर क्यों चुप्पी साध कर बैठे हैं ।
केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी एक बार फिर अपने फायर ब्रांड अंदाज में नजर आईं। असल में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने लोकसभा में कहा कि एक जगह राम का मंदिर बनाया जा रहा है , वहीं दूसरी जगह सीता मैया को जलाया जा रहा है । उनके इस बयान पर मानों स्मृति ईरानी उखड़ गईं । उन्होंने सदन में कहा कि बंगाल के एक नेता जो उन्नाव और हैदराबाद का मुद्दा उठा रहे हैं वो मालदा पर कुछ क्यों नहीं बोले ।
जैसे ही स्मृति ईरानी ने मालदा का नाम लिया तो लोकसभा में हंगामा शुरू हो गया और TMC की ओर से सवाल दागा गया कि बताइए क्या हुआ? इसपर स्मृति ईरानी ने तपाक से जवाब दिया कि नहीं पता, तो जाकर बंगाल का अखबार पढ़िए ।
स्मृति ईरानी बोलीं कि मालदा के रेप को राजनीतिक हथियार के तौर पर इस्तेमाल किया गया. क्या ये सत्य नहीं है कि इसी सदन ने जघन्य अपराध के मामले में मौत की सज़ा का कानून बनाया, अगर आप आज चिल्लाकर एक महिला को बोलने से रोक रहे हैं तो ये गलत है ।उन्होंने कहा कि इस तरह के अपराधों पर राजनीति नहीं होनी चाहिए, केंद्र सरकार की ओर से महिला संरक्षण के लिए राज्य सरकारों को पैसा दिया गया ।