नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी का भले ही देश में ज्यादातर राज्यों में कब्जा होता जा रहा हो लेकिन अंदरूनी कलह भी उभरकर सामने आने लगा है। भाजपा के निलंबित सांसद कीर्ति झा आजाद ने पार्टी को उनके निलंबन पर फैसला लेने के लिए एक महीने का अल्टीमेटम दिया है। कीर्ति आजाद ने कहा कि केन्द्र में सरकार बने हुए 4 साल हो गए और अगले साल चुनाव है। ऐसे में पार्टी अगर उनके लिए कोई फैसला नहीं लेती है तो वे खुद निर्णय लेंगे। बता दें कि कीर्ति आजाद ने अपनी ही सरकार पर कई आरोप लगाए हैं।
गौरतलब है कि भाजपा सांसद ने कहा कि वे पिछले 26 सालों से पार्टी के लिए काम कर रहे हैं और कभी भी खिलाफ में कोई बयान नहीं दिया है। उन्होंने कहा कि पार्टी अपने वादे पर खरा नहीं उतर रही है तो उसे आईना दिखाना जरूरी है। आजाद ने कहा कि सिर्फ कांग्रेस को कोसने से अपनी जिम्मेदारी खत्म नहीं हो सकती है।
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यहां बता दें कि कीर्ति आजाद ने कहा कि हरियाणा और केन्द्र दोनों जगहों पर भाजपा की सरकार ने इसके बावजूद राॅबर्ट वाड्रा पर कोई कार्रवाई नहीं हुई जबकि भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने पर उनपर फौरन कार्रवाई हो गई। पीएम मोदी पर बड़ा सवाल उठाते हुए कीर्ति आजाद ने कहा कि ‘‘वे मुख्यरूप से कारोबारी हैं और अपना नफा नुकसान ही केवल देखते हैं। पिछले चार साल में देश को कितना नुकसान पहुंचा है इसका अंदाजा लगाना मुश्किल है।’’ आजाद ने कहा कि अगर वे भाजपा से अलग होते हैं तो किधर जाएंगे ये देखने वाली बात होगी। इसके साथ्ज्ञ ही उन्होंने 15 साल और राजनीति करने का दावा भी किया।