नई दिल्ली । देश के बहुचर्चित निर्भया गैंगरेप केस में फांसी की सजा पाए चार दोषियों में से 2 की क्यूरेटिव पिटीशन को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया है । जस्टिस एनवी रमना, जस्टिस अरुण मिश्रा, जस्टिस रोहिंटन फली नरीमन, जस्टिस आर. भानुमति और जस्टिस अशोक भूषण की पांच जजों वाली पीठ ने दोषी विनय शर्मा और मुकेश की फांसी की सजा के बाद दायर क्यूरेटिव पिटीशन को खारिज कर दिया । इससे पहले पटियाला हाउस कोर्ट ने निर्भया गैंगरेप केस के चारों दोषियों का डेश वारंट जारी किया था । कोर्ट ने इस मामले में चार दोषियों को 22 जनवरी की सुबह सात बजे फांसी देने का समय तय किया है ।
बता दें कि क्यूरेटिव पिटीशन में दोषी विनय शर्मा ने कहा था कि उसे फांसी की सजा दिए जाने से केवल याचिकाकर्ता को ही दंडित नहीं किया जा रहा , बल्कि आपराधिक कार्यवाही के कारण उसका पूरा परिवार अत्यंत पीड़ित हुआ । परिवार की कोई गलती नहीं, फिर भी उसे सामाजिक प्रताड़ना और अपमान झेलना पड़ा है । वहीं, वकील एपी सिंह ने कहा कि याचिकाकर्ता के माता-पिता वृद्ध और अत्यंत गरीब हैं । इस मामले में उनका भारी संसाधन बर्बाद हो गया और अब उन्हें कुछ भी हाथ नहीं लगा है। लेकिन पीठ ने उनकी दलीलों और क्यूरेटिव पिटीशन को खारिज कर दिया ।
पिछले दिनों पटियाला हाउस कोर्ट ने इस कांड के चारों आरोपियों के खिलाफ डेश वारंट जारी किया है । चार दोषियों को 22 जनवरी की सुबह 7 बजे फांसी देना तय हुआ है । हाल में तिहाड़ जेल में चारों को एक साथ फांसी देने का डमी ट्रायल भी हुआ ।