नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की दोस्ती में ‘दरार’ आ गई है। भारत ने अमेरिका द्वारा शुरू किए गए व्यापार युद्ध (ट्रेड वाॅर) के बाद यह फैसला लिया है। भारत का कहना है कि इससे व्यापार के ज्यादा प्रभावित होने की संभावना नहीं है। इसका प्रस्ताव विश्व व्यापार संगठन को दिया गया है।
गौरतलब है कि अमेरिका की ओर से भारतीय समानों पर सेफगार्ड की कार्रवाई के बाद भारत ने यह फैसला लिया है। अपने इस फैसले पर भारत की तरफ साफ किया गया है कि अमेरिका से आयात किए जाने वाले सामानों पर छूट खत्म करने से व्यापार पर उतना ही असर पड़ेगा जितना की अमेरिका के फैसले से हुआ है। बता दें कि इससे पहले मई महीने में भारत ने अमेरिका से आने वाले 20 उत्पादों पर शुल्क बढ़ाने का प्रस्ताव दिया था। इन उत्पादों में बादाम, सेब और स्पेशल कैटेगरी की बाईक शामिल थीं।
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यहां बता दें कि भारत द्वारा आयातित सामानों पर छूट खत्म करने के बाद बाईक, स्टील के सामान और दालें महंगी हो सकती हैं। बता दें कि अमेरिका ने चीन के साथ भी इसी तरह का ‘खेल’ शुरू किया है और चीन से आने वाले सामानों पर 50 डाॅलर का शुल्क लगा दिया है। चीन ने फौरन इसका जवाब देते हुए कहा कि ऐसा होने से दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाले देशों के बीच व्यापार युद्ध शुरू होने की संभावना बढ़ जाएगी।