लखनऊ। सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इन दिनों ताजमहल के ऐतिहासिक महत्व पर चल रही बहस का अंत अपने एक बयान से कर दिया है। योगी ने मंगलवार को कहा कि हमारा उद्देश्य उत्तर प्रदेश के पर्यटन स्थलों का विकास करना है। इस दौरान, संगीत सोम जैसे नेता क्या कहते हैं, उन्हें इससे कोई मतलब नहीं है। उन्होंने संगीत सोम के बयान के बाद ओवैशी और आजम खान के बयानों पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि ओवैशी-आजम के बयानों को गंभीरता से लेने वाले लोगों लिए मुझे अफसोस होता है। कौन क्या कहता है यह महत्वपूर्ण नहीं, जरूरी ये है कि भारतीयों के खून-पसीने से बने हर स्मारक का संरक्षण किया जाए। हमारी सरकार का उद्देश्य यूपी में पर्यटन को बढ़ावा देना है।
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बता दें कि सियासी बयानबाजी के बीच यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ 26 अक्टूबर को आगरा जा रहे हैं। इस दौरान वह ताजमहल भी देखने जाएंगे और आगरा में पर्यटन विभाग के एक कार्यक्रम में भी हिस्सा लेंगे। इससे पहले ताजमहल के ऐतिहासिक महत्व पर छिड़ी बहस को योगी आदित्यनाथ ने विराम लगाते हुए कहा कि उनकी पार्टी का नेता या अन्य नेता, कौन क्या कहता है, यह महत्वपूर्ण नहीं है, जरूरी भारतीयों के खून-पसीने से बने हर एक स्मारक का संरक्षण किया जाए। पर्यटन की दृष्टि से भी स्मारकों का संरक्षण जरूरी है। इस दौरान उन्होंने कहा कि यूपी में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए रिवर फ्रंट का विकास किया जाएगा।
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असल में ताजमहल को लेकर योगी सरकार अक्सर सुर्खियों में रही है। हाल में यूपी सरकार ने ताजमहल को यूपी की सांस्कृतिक विरासत लिस्ट में शामिल नहीं किया है, जिसके बाद एक बहस छिड़ गई। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, बिहार की दरभंगा रैली में योगी ने यह तक कह दिया था कि उनके लिए ताजमहल एक इमारत के सिवा और कुछ नहीं है। ऐसे में योगी के ताजमहल को लेकर उनके नजरिये को ध्यान में रखते हुए भाजपा विधायक संगीत सोम ने मुगलों के इतिहास को ही खत्म कर देने की बात कही थी। संगीत सोम ने मुगलों को गद्दार करार दिया था।
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इसके बाद जहां ओवैशी ने कहा कि पीएम लाल किले पर तिरंगा फहराना बंद कर दें, क्योंकि लाल किले को भी गद्दारों ने ही बनाया था। वहीं आजम खां ने ताजमहल को गुलामी की निशाने बताए जाने पर भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि गुलामी की निशानियों को ना मिटाना राजनीतिक नपुंसकता है। उन्होंने कहा कि देश में मौजूद उन सभी इमारतों को गिरा देना चाहिए जिनसे कल के शासकों की बू आती है। मैंने तो पहले भी कहा कि सिर्फ ताजमहल ही क्यों पार्लियामेंट, राष्ट्रपति भवन, कुतुब मीनार सब को गिरा देना चहिए।
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